लेमन ग्रास की खेती से पहले जानें ये महत्वपूर्ण बातें

लेमन ग्रास को नींबू घास, चायना ग्रास, भारतीय नींबू घास, एवं मालाबार घास, आदि कई नामों से जाना जाता है। इसकी पत्तियों से नींबू की तरह सुगंध आती है। कई औषधीय गुणों से भरपूर लेमन ग्रास की पत्तियों का उपयोग चाय बनाने में किया जाता है। इसके अलावा इसकी पत्तियों से तेल भी प्राप्त किया जाता है। जिससे औषधियों के निर्माण के साथ इत्र, साबुन एवं कई तरह के सौंदर्य प्रसाधन भी तैयार किए जाते हैं। पौधों की तेजी से वृद्धि होने के कारण एवं अधिक मूल्य पर बिक्री होने के कारण इसकी खेती किसानों के लिए बहुत लाभदायक होती है। आइए इस पोस्ट के माध्यम से लेमन ग्रास की खेती पर विस्तार से जानकारी प्राप्त करें।
लेमन ग्रास की खेती के लिए उपयुक्त समय
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लेमन ग्रास की खेती के लिए फरवरी से जुलाई तक का समय उपयुक्त है।
उपयुक्त मिट्टी एवं जलवायु
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इसकी खेती लगभग सभी तरह की उपजाऊ मिट्टी में सफलतापूर्वक की जा सकती है।
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जल भराव वाली भूमि में इसकी खेती करने से बचें।
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इसकी खेती के लिए उष्ण एवं समशीतोष्ण जलवायु की आवश्यकता होती है।
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पौधों को धूप की आवश्यकता अधिक होती है। इससे पौधों में तेल की मात्रा बढ़ती है।
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लेमन ग्रास के पौधे न्यूनतम 15 डिग्री सेंटीग्रेड एवं अधिकतम 40 डिग्री सेंटीग्रेड तक तापमान सहन कर सकते हैं।
लेमन ग्रास की खेती का तरीका
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लेमन ग्रास की खेती बीज की बुवाई एवं कलम की रोपाई के द्वारा की जाती है।
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इसके अलावा स्लिप विधि से भी इसकी खेती की जाती है। इस विधि में पुराने पौधों की जड़ों की रोपाई कर के पौधे तैयार किए जाते हैं।
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