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20 Mar
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कंपोस्ट खाद तैयार करने के बेहतरीन तरीके | Preparation of Organic Compost

लगातार रासायनिक उर्वरकों के इस्तेमाल से मिट्टी की उर्वरक क्षमता धीरे-धीरे कम होती जा रही है। इसके साथ ही रासायनिक उर्वरकों के उपयोग से कृषि में लागत तो बढ़ ही रही है, किसानों को फसलों से अच्छी उपज भी नहीं प्राप्त हो पा रही है। ऐसे में कंपोस्ट खाद का इस्तेमाल करना एक बेहतर विकल्प है। कम्पोस्ट खाद इस्तेमाल करने के कई लाभ हैं। इसकी एक विशेषता यह भी है कि इसे आप घर पर ही बहुत कम खर्च में आसानी से तैयार कर सकते हैं।

कंपोस्ट खाद इस्तेमाल करने के फायदे | Benefits of Using Compost Fertilizer

  • मिट्टी के स्वास्थ्य में सुधार: कार्बनिक पदार्थों से भरपूर होने के कारण कंपोस्ट खाद के इस्तेमाल से मिट्टी की उर्वरक क्षमता बढ़ती है।
  • जड़ों का बेहतर विकास: कंपोस्ट खाद खेत की मिट्टी को भुरभुरी बनने में सहायक है, जिससे पौधों की जड़ों का बेहतर विकास होता है।
  • पोषक तत्वों की पूर्ति: प्रचुर मात्रा में पोषक तत्व होने के कारण इसके इस्तेमाल से फसलों में पोषक तत्वों की कमी दूर होती है।
  • उपज एवं गुणवत्ता: कंपोस्ट खाद से उचित मात्रा में पोषक तत्व मिलने के कारण फसलों की उपज एवं गुणवत्ता में वृद्धि होती है।
  • पर्यावरण के लिए सुरक्षित: जैविक होने के कारण इसके इस्तेमाल से पर्यावरण पर किसी तरह का हानिकारक प्रभाव नहीं होता है।
  • मिट्टी की जल धारण क्षमता: कंपोस्ट खाद के इस्तेमाल से मिट्टी की जल धारण क्षमता बढ़ती है। जिससे सिंचाई के समय पानी की भी बचत होती है।
  • बंजर भूमि को बनाए उपजाऊ: कई वर्षों तक लगातार कंपोस्ट खाद का प्रयोग करने से बंजर भूमि भी उपजाऊ हो सकती है।
  • स्वास्थ्य के लिए लाभदायक: घर पर तैयार किए गए कंपोस्ट खाद में किसी तरह का हानिकारक रसायन नहीं होता। जिससे इसका इस्तेमाल पौधों एवं मिट्टी के साथ हमारे स्वास्थ्य के लिए भी लाभदायक है।
  • लागत में कमी: गोबर, घास एवं अन्य घरेलू कचरे आदि से इसे घर पर बहुत आसानी से तैयार किया जा सकता है। इससे कृषि में होने वाली लागत में कमी आती है।

कंपोस्ट खाद तैयार करने के लिए आवश्यक सामग्री

कंपोस्ट खाद बनाने के लिए हरी एवं सूखी दोनों तरह की सामग्री की आवश्यकता होती है। सामग्रियों की सूची निम्न प्रकार है।

हरी/गीली सामग्री:

  • फल एवं सब्जियों के छिलके
  • इस्तेमाल की हुई चाय की पत्ती
  • हरी घास
  • ताजे पत्ते
  • बचा हुआ चारा
  • गोबर

सूखी सामग्री:

  • सूखी पत्तियां
  • पुआल
  • सूखी घास
  • भूसा
  • लकड़ी के टुकड़े और चूरा
  • कार्डबोर्ड या कागज़ के टुकड़े

कंपोस्ट खाद तैयार करने की प्रक्रिया

कंपोस्ट खाद को दो तरह से तैयार किया जा सकता है। पहला है गड्ढा बना कर और दूसरा है ढेर लगा कर। दोनों प्रक्रिया की विस्तृत जानकारी नीचे दी गई है। आप अपनी सुविधा के अनुसार किसी भी विधि से कंपोस्ट तैयार कर सकते हैं।

गड्ढा बना कर कंपोस्ट खाद तैयार करना

  • इसके लिए सबसे पहले 3 मीटर लम्बा, 2 मीटर चौड़ा और 1 मीटर गहराई वाला गड्ढा तैयार करें।
  • इसमें नमी बनाए रखने के लिए चारो तरफ पानी का छिड़काव करें।
  • इसके बाद फल-सब्जियों के अवशेष, पुआल, गन्ने के छिलके, गलने योग्य छोटे पौधे, घास, घर के कचरे, आदि को 30 सेंटीमीटर ऊंचाई तक भरें।
  • इसके ऊपर गोबर की एक परत बिछा कर पानी के फुहारे दें।
  • अब एक परत घर का कूड़ा, फसलों के अवशेष, भूसा, चारा, आदि की एक परत बीछा कर पैरों से अच्छी तरह दबाएं।
  • इसके बाद फिर से गोबर की परत बीछा कर पानी के फुहारे दें।
  • गड्ढे के भरने तक इस प्रक्रिया को दोहराएं। गड्ढा भरने के बाद उसे मिट्टी से ढक दें।
  • करीब 3 से 4 महीने में कंपोस्ट खाद तैयार हो जाएगी।

ढेर लगा कर कंपोस्ट खाद तैयार करना

  • इसके लिए सबसे पहले ऊंचाई वाले स्थान पर 3 मीटर लम्बा, 2 मीटर चौड़ा और 1 मीटर ऊंचा मेड़ तैयार करें।
  • सबसे नीचे 2 सेंटीमीटर तक ईंट की परत लगाएं।
  • गड्ढा विधि की तरह इस विधि में भी कचरे, घास, फल-सबहियों के छिलकों आदि के ऊपर गोबर की 5-10 सेंटीमीटर मोटी परत बिछा कर पानी के फुहारे दें।
  • मेड़ के भरने तक इस प्रक्रिया को दोहराएं और अंत में गोबर से अच्छी तरह ढकें।
  • नमी बनाए रखने के लिए पानी के फुहारे देते रखें।
  • 4 से 6 सप्ताह के अंतराल पर ढेर को पलटते रहें। पलटने के बाद वापस इसे अच्छी तरह ढक दें।
  • इस तरह 3-4 महीने में कंपोस्ट खाद तैयार हो जाएगी।

कंपोस्ट खाद तैयार करते समय रखें इन बातों का ध्यान

  • स्थान का चयन: कंपोस्ट खाद तैयार करने के लिए किसी सूखे स्थान का चयन करें। इसके साथ ही इस बात का ध्यान रखें की वहां धूप आती हो। इसके लिए बहुत ज्यादा गीले स्थान का चयन न करें।
  • नमी का स्तर: कंपोस्ट के ढेर में पर्याप्त मात्रा में नमी होनी चाहिए। इसे बहुत अधिक गीला न करें। यदि ढेर बहुत गीली है तो उसमे सूखी पत्तियां, पुआल, सूखी घास, आदि को मिलाएं। यदि कम्पोस्ट का ढेर आवश्यकता से अधिक सूखी है तो उसमें पानी का छिड़काव करें।
  • ढेर को मिलाएं: कंपोस्ट के ढेर को नियमित रूप से मिलाएं। इससे हवा का आवागमन बना रहता है और खाद भी जल्दी तैयार होता है।
  • सामग्री एवं मात्रा: कंपोस्ट खाद के निर्माण में 2:1 के अनुपात में सूखी एवं हरी सामग्री का प्रयोग करें। इसे तैयार करने के लिए मांस या डेयरी उत्पादों का प्रयोग करने से बचें। इस तरह की सामग्री कीटों को आकर्षित करती है, जिससे खाद तैयार होने में अधिक समय लग सकता है और खाद की गुणवत्ता भी प्रभावित हो सकती है।

क्या आपने कभी घर पर कंपोस्ट खाद तैयार किया है? अपने जवाब हमें कमेंट  बताएं। इस तरह की अधिक जानकारियों के लिए 'देसी जुगाड़' चैनल को तुरंत फॉलो करें। इस जानकारी को अधिक किसानों तक पहुंचाने के लिए इस पोस्ट को लाइक और शेयर करना न भूलें।

अक्सर पूछे जाने वाले प्रश्न | Frequently Asked Question (FAQs)

Q: कंपोस्ट खाद में कौन सा पोषक पदार्थ होता है?

A: कम्पोस्ट खाद में नाइट्रोजन, फॉस्फोरस, पोटाश के साथ कैल्शियम, मैग्नीशियम, सल्फर जैसे कई तरह के सूक्ष्म पोषक तत्व भी पाए जाते हैं। ये पौधों के विकास के लिए आवश्यक है।

Q: कम्पोस्ट खाद तैयार करने में कितना समय लगता है?

A: कम्पोस्ट खाद बनाना एक प्राकृतिक प्रक्रिया है। इसे तैयार होने में लगने वाला समय इस्तेमालकी जाने वाली सामग्री, ढेर/गड्ढे का आकार, नमी की मात्रा एवं वातावरण पर निर्भर करती है। सामान्यतः 2 से 6 महीने में कम्पोस्ट खाद तैयार हो जाता है। कई बार कम्पोस्ट को पूरी तरह विघटित हो कर खाद बनने में 1 वर्ष का समय भी लग सकता है।

Q: रसोई के कचरे से खाद कैसे बनाएं?

A: रसोई के कचरे से खाद तैयार करने के लिए छोटे गड्ढे या डस्टबिन में रसोई के कचरे जैसे फल-सब्जियों के छिलके, अंडों के छिलके, इस्तेमाल की हुई चाय की पत्ती, बचा हुआ खाना, आदि भरें। रसोई के कचरे में नाइट्रोजन की मात्रा अधिक होती है। इसे संतुलित करने के लिए इसमें सूखी पत्तियां, सूखे घास, कागज़ के टुकड़े, आदि को मिलाएं। इस मिश्रण में पानी के छींटें लगा कर अच्छी तरह ढकें। इसे नियमित रूप से पलटते रखें। कुछ ही महीनों में खाद तैयार हो जाएगी।

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